सबसे बडा़ एवं सर्वाधिक भारी ग्रह – बृहस्पति
सबसे छोटा एवं सूर्य से सबसे निकट स्थित ग्रह – बुध
पृथ्वी के सबसे निकट का ग्रह – शुक्र
पृथ्वी और सूर्य से सबसे दूर स्थित ग्रह – वरूण
सौरमंडल का सर्वाधिक चमकीला एवं गर्म ग्रह – शुक्र
सर्वाधिक ठंडा ग्रह – वरूण
सबसे अधिक उपग्रहों वाला ग्रह – बृहस्पति
बिना उपग्रहों वाला ग्रह – बुध एवं शुक्र
लाल ग्रह तथा नीला ग्रह – क्रमशः मंगल तथा पृथ्वी
पीला ग्रह तथा हरा ग्रह – क्रमशः वृहस्पति तथा अरूण
भोर तथा सांझ का तारा पृथ्वी की बहिन, जुड़वाँ ग्रह कहलाता है – शुक्र
चन्द्रमा पर दिन तथा रात का तापमान – क्रमशः 100°C तथा -180°C
सूर्य का व्यास – 13,92,000 किमी०
सौरमंडल का सबसे बड़ा उपग्रह – गेनीमेड ( बृहस्पति का उपग्रह )
सौरमंडल का सबसे छोटा उपग्रह – डिमोस (मंगल के उपग्रह )
शनि का सबसे बड़ा उपग्रह – टाइटन
वलय युक्त ग्रह – शनि (बलयों की संख्या-7 )
सबसे कम समय में सूर्य के चक्कर लगाने वाला ग्रह — बुध ( 88 दिन )
सबसे अधिक समय में सूर्य के चक्कर लगाने वाला ग्रह – वरूण
पृथ्वी के विपरीत दिशा में चक्कर लगाने वाला ग्रह – शुक्र एवं अरूण
सर्वाधिक चमकीला तारा – साइरस (डॉग स्टार)
सौर दिवस की अवधि – 24 घंठा
सूर्य के केन्द्र तथा सतह का तापमान - क्रमशः 15 M°C और 6000°C
सूर्य प्रकाश को पृथ्वी पर पहुँचने में लगा समय - 8 मिनट 20 सेकेंड
चंद्रमा का प्रकाश को पृथ्वी पर पहुँचने में लगा समय. – 1.3 सेकेण्ड
सूर्य का प्रमुख संघटक। – हाइड्रोजन-74% और हीलियम-25%
सूर्य की ऊर्जा का स्रोत – नाभिकीय संलयन
पृथ्वी का भूमध्यरेखीस व्यास — 12,756 किमी०
पृथ्वी का ध्रुवीय व्यास - 12,714 किमी”
पृथ्वी का विषुवत्तीय व्यास ध्रुवीय व्यास से ज्यादा है - 42 किमी
पृथ्वी का अपनी धुरी पर झुकाव - 23.5 ‘ अक्षांश
पृथ्वी का अक्ष पर घुर्णन – पश्चिम से पूर्व
सबसे बड़ा तारामंडल. – सेन्टॉरस
आकाशगंगा की आकृति है – स्पाइरल
सूर्य पृथ्वी से बड़ा है – 109 गुणा
सूर्य का सबसे चमकीला सतह – प्रकाश-मंडल
सूर्य का बाहयत्तम परत कहलाता है – किरीट ( कोरोना )
अंतरिक्ष में तारामंडलों की संख्या है – 89
ब्रह्माण्ड में विस्फोटी तारमण्ल कहलाता है – अभिनव तारा
किस ग्रह पर सूर्य पश्चिम में उगता है – अरूण एवं शुक्र
सी ऑफ ट्रांक्विलिटी स्थित है। — चन्द्रमा पर ( पृथ्वी का एकमात्र उपग्रह
पृथ्वी तथा सूर्य के निकटत्तम तारा – क्रमशः सूर्य तथा प्रॉक्सिमा सेंटोरी
चन्द्रमा द्वारा पृथ्वी की परिक्रमा में लगा समय – 27.3 दिन
शनि सूर्य के चारों एक चक्कर लगाता है – 29.5 वर्ष
निकट तारे के प्रकाश को पृथ्वी पर पहुँचने में लगा समय – 4.2 वर्ष
क्षुद्र ग्रह स्थित है — मंगल एवं बृहस्पति के बीच ( सबसे बड़ा-सेरेस )
हेली पुच्छल तारा दिखता है – 76 वर्षों बाद ( दिखाई देगा-2062 में )
चन्द्रग्रहण होता है जब - पृथ्वी, सूर्य और चन्द्रमा के बीच आती है |
सूर्यग्रहण होता है जब – चन्द्रमा, पृथ्वी और सूर्य के बीच आती है
तारे का रंग सूचक है – उसके ताप का